मुबारक अली, ब्यूरो चीफ, शाहजहाँपुर (यूपी), NIT:
विधानसभा सामान्य निर्वाचन 2022 के दृष्टिगत अब किसी भी राजनैतिक दल के प्रत्याशी को प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के साथ-साथ सोशल मीडिया के प्लेटफार्म पर प्रचार-प्रसार हेतु जिला निर्वाचन कार्यालय से पूर्वानुमति लेना अनिवार्य होगा। उक्त निर्देश जिला निर्वाचन अधिकारी/जिलाधिकारी उमेश प्रताप सिंह ने दिए तथा इसके लिए जिला स्तर पर मीडिया प्रमाणन एवं अनुवीक्षण समिति को सक्रिय करते हुये नोडल अधिकारी अपर जिलाधिकारी वित्त व राजस्व गिरजेश चौधरी को नामित किया है। यही समति प्रिंट व इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में किसी भी प्रकार के विज्ञापन, पेड़ न्यूज़, फेक न्यूज़ आदि को अभिप्रमाणित करेगी। इस बार निर्वाचन आयोग ने विधानसभा सामान्य निर्वाचन 2022 को निष्पक्ष, शांति एवं सुचितापूर्ण ढंग से सम्पन्न कराये जाने हेतु कड़े कदम उठाए हैं।
नोडल अधिकारी श्री गिरिजेश चौधरी ने बताया कि अब सोशल मीडिया पर विधानसभा चुनाव से जुड़ी कोई भी पोस्ट करने से पहले किसी भी राजनैतिक दल के प्रत्याशी अथवा समर्थक द्वारा जिला निर्वाचन कार्यालय से अनुमति लेना अनिवार्य हो गया है। अनुमति के उपरांत ही किसी भी समाचार पत्र, पत्रिका व टेलीविजन, रेडियो व अपनी पोस्ट सोशल मीडिया के प्लेटफार्म पर शेयर कर सकेगा। शेयर की गई पोस्ट का व्यय प्रत्याशी के प्रचार-प्रसार खाते में जोड़ा जाएगा।
निर्वाचन आयोग के निर्देशों के क्रम में अब जिला स्तर पर भी टीम एमसीएमसी द्वारा प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के साथ-साथ सोशल मीडिया पर भी कड़ी निगरानी रखना जारी कर दिया है। अब सोशल मीडिया पर किसी भी राजनैतिक दल के प्रत्याशी अथवा समर्थक द्वारा लोकलुभावनी बातें या हिंसा फैलाने जैसे कृत्य करते हुए पाया गया तो सम्बन्धित के खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जाएगी। चूंकि निर्वाचन आयोग ने इसपर सख्ती के साथ निपटने का निर्णय लिया है।
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