मुस्लिम समाज में उठी मांग, विधायक आरिफ़ मसूद को मंत्रिमंडल में दी जाये जगह, "एक पत्र कांग्रेस अध्यक्ष व मुख्यमंत्री के नाम" | New India Times

शाहनवाज खान, भोपाल (मप्र), NIT:

मुस्लिम समाज में उठी मांग, विधायक आरिफ़ मसूद को मंत्रिमंडल में दी जाये जगह, "एक पत्र कांग्रेस अध्यक्ष व मुख्यमंत्री के नाम" | New India Times

मुस्लिम समाज में विधायक आरिफ़ मसूद को मंत्रिमंडल में जगह देने की मांग उठ रही है। इस आशय का एक पत्र मीडिया को रिलीज किया गया है।

माननीय कमलनाथ जी,
राजनीतिक गलियारों में काफ़ी हलचल है कि प्रदेश में जल्द ही मंत्रीमंडल का विस्तार होने जा रहा है उसके लिए आपको मेरी शुभकामनाएं।
परन्तु जब मेरा ध्यान प्रदेश के सबसे बड़े अल्पसंख्यक समाज की ओर जाता है तो मायूसी ही हाथ लगती है उसे किस तरह से दोनो राजनीतिक दलों ने हाशिये पर धकेल रखा है और इस बड़े अल्पसंख्यक समाज की राजनीति में हिस्सेदारी शून्य हो गई है ना तो लोकसभा और ना ही विधानसभा में कोई पूछ है नगरीय निकायों में भी हिस्सेदारी शून्य है जो इस देश के हर सेकुलर व़्यक्ति के लिए चिंता का विषय है।
आपके केबिनेट में भी सिर्फ एक ही विधायक को अल्पसंख्यक समाज से मंत्रीमंडल में जगह दी गई है जबकि दो विजय होकर आये हैं अब ऐसे में समस्त समाज की निगाहें अगले मंत्रीमंडल विस्तार में लगी हुई है कि क्या भोपाल से मध्य विधानसभा के लोकप्रिय विधायक आरिफ़ मसूद को जगह मिलेगी?
आरिफ़ मसूद ने प्रदेश की राजनीति में तेज़ी से जगह बनाई है और समाज के सबसे बड़े नेता बनकर उभरे हैं तथा प्रदेश के किसी भी शहर या नगर गांव कस्बे का अल्पसंख्यक समाज का व्यक्ति आरिफ़ मसूद को अपना नेता मानता है और वह आरिफ़ मसूद को मंत्रिमंडल में देखना चाहता है।
क्या आप भी बीजेपी की तरह इस समाज को दरकिनार करना चाहते हैं जिसका विधानसभा चुनाव जिताने में सबसे अहम योगदान रहा है और ये समाज कांग्रेस का परंपरागत मतदाता रहा है परन्तु जिस तरह से राजनीतिक हालात पूरे देश में बदल रहे हैं अगर कोई तीसरा मोर्चा खड़ा होता है तो ये बड़ा समाज उसके तरफ़ खिसक जाये तो अतिशयोक्ति नहीं होगी जिस तरह देश कई हिस्सों में यही देखने को मिला है या आज एक बहुत बड़ा तबका इस समाज का बीजेपी से जा मिला है क्योकि उसका कहना होता है बीजेपी और कांग्रेस इस वक़्त एक ही विचारधारा पर काम कर रही है तो बीेजेपी से गुरैज़ क्यों??
अभी हाल के सीएसडीएस के सर्वे भी यही आया है विगत लोकसभा चुनाव में अल्पसंख्यक समुदाय के बड़े हिस्से ने बड़े स्तर पर भाजपा का समर्थन किया है।
अब ये आपके हाथ में है क्या आप अल्पसंख्यक समाज के साथ न्याय करते हैं और आरिफ़ मसूद को मंत्रिमंडल में शामिल करते हैं या नहीं।

नवाब शाहनवाज़ खान (पत्रकार)


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