अब्दुल वाहिद काकर, ब्यूरो चीफ, धुले (महाराष्ट्र), NIT:
आजाद नगर पुलिस ने सोमवार को लाखों रुपये कीमत का गुटखा व सुगंधित तम्बाकू जप्त किया है। पुलिस ने 16 बोरी भरा हुवा गुटखा जप्त किया है। इस मामले में वाहन चालक को गिरफ्तारी किया गया है। पुलिस ने एफडीए को सूचना दे दी है। पुलिस ने 6 लाख 10 हजार 368 रुपये की सामग्री बरामद किया है साथ ही डेढ़ लाख रुपये कीमत का वाहन भी जब्त किया है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार आजाद नगर को पुलिस अधीक्षक विश्वास पांढरे ने आजाद नगर थाना क्षेत्र के आगरा मुंबई महामार्ग इलाके में तेज रफ्तार वाहनों तथा शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों के विरुद्ध कार्यवाही करने के आदेश जारी किए थे कि इसी बीच इंदौर से जलगांव की दिशा में एक तेज गति से संदेहास्पद हालत में वाहन क्रमाक एम एज 19 सी वाय 3548 टाटा एस दौड़ता हुआ पुलिस हेड कांस्टेबल सुनील पथरावठ को दिखाई दिया, वाहन रोक कर वाहन चालक से पूछताछ की गई तो उसने पुलिस को मूर्ख बनाने का प्रयास किया किंतु पुलिस उसके झांसे में नहीं आई और वाहन के माल की जांच पड़ताल की गई तो उसमें प्रतिबंधित गुटखा व सुगन्धित तम्बाकू 6 लाख 10 दस हजार 368 रुपये की बरामद हुई। पुलिस ने वाहन चालक मोहम्मद अफरोज आलम अंसारी से पूछताछ की तो प्रतिबंधित गुटखा मालिक के रूप में चंद्र मल प्रीतमदास नागदेव निवासी जूना पोस्ट मोहल्ला भारत भूषण किराना के पीछे पारोला ज़िला जलगांव का नाम सामने आया।
इस दबीश को पुलिस अधीक्षक विश्वास पांढरे, अपर पुलिस अधीक्षक राजू भुजबल, सीएसपी सचिन हिरे के निर्देशन में आजाद नगर थाना प्रभारी अधिकारी दिनेश आहिरे के नेतृत्व में सहायक पुलिस निरीक्षक संगीता राउत, सुनील पथरावठ, दीपक पाटील, रमेश माली, मराठे, शेख तथा भोई ने अंजाम दिया है।
इस मामले में अगर सही तरीके से जांच हुई तो धुलिया के सभी गुटखा माफियाओं के चेहरे से नकाब उतर सकता है। यह कारोबार का गढ़ सेंधवा जलगांव है यह साबित हो चुका है। हाल ही में क्राइम ब्रांच पुलिस ने आजाद नगर पुलिस थाने हद में भी बड़ी मात्र में गुटखा पकड़ा गया था उस समय भी उसके तार इस कांग्रेसी नेता के गोडाउन से जुड़े पाए गए थे लेकिन पता नहीं किन कारणों के चलते इस पर कार्यवाही नहीं हुई। बता दें कि प्रतिबंधित होने के बावजूद राज्य में गुटखा धड़ल्ले से बिक रहा है। स्टेशन से सटे इलाकों से लेकर आवासीय क्षेत्रों तक गुटखे की अवैध बिक्री बगैर रोक-टोक जारी है। इस पर रोकथाम के लिए एफडीए ने अभियान नही चलाया है, पुलिस कभी कभी प्रतिबंधित गुटखा डील नहीं होने पर पकड़ती है जिसके चलते दुकानदारों में बिक्री को लेकर रत्ती भर डर नहीं है। नतीजतन प्रतिबंध के 5 साल बाद भी धुलिया, शिरपुर और आसपास के अलावा जिले के कई हिस्सों में गुटखे की खरीद-फरोख्त जारी है।
वही इस बारे में थाना प्रभारी अधिकारी आहिरे का कहना है कि गुटखा सहित सभी प्रतिबंधित चीजों की ब्रिक्री रोकने के लिए हम प्रतिबद्ध हैं, इसके लिए आये दिन कार्यवाई की जाती है। लोग खुद भी इसकी शिकायत कर सकते हैं उस पर भी हम कार्यवाई करेंगे। गौरतलब हो कि पूरे खान्देश में सबसे बड़ी सप्लाई हो रहा है। अनेक स्थानों पर अवैध गुटके को रखने के लिये कई बड़े गोदाम भी हैं जहां पर बड़ी मात्रा में स्टाक रखा जाता है। आरोप है कि स्थानीय पुलिस की मिली भगत से ये पूरा कारोबार फलफूल रहा है। इस समय धुलिया के लगभग सभी पान की दुकानों पर आपको आसानी से गुटका मिल जाएगा। कुछ किराना के दुकानदार भी हैं जो अपनी दुकानों पर गुटका बेचते हैं। सबसे ज्यादा आजाद नगर, चालीस गांव रोड, देवपुर शहर थाना और तहसील परिसर में खुलेआम गुटखा बेचा जाता है।
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