व्यवस्था के खिलाफ आवाज़ उठायें: आनंद मोहन माथुर;  विचार मध्यप्रदेश की बैठक संपन्न | New India Times

अबरार अहमद खान, भोपाल, NIT; ​व्यवस्था के खिलाफ आवाज़ उठायें: आनंद मोहन माथुर;  विचार मध्यप्रदेश की बैठक संपन्न | New India Times“विचार मध्यप्रदेश” द्वारा जारी प्रेस रिलीज के अनुसार देश संक्रमण के कठिन दौर से गुजर रहा है। पूंजीवादी व्यवस्था गरीब को यह समझाने में लगी है कि तुम खुद अपनी हालात के लिए ज़िम्मेदार हो।

 व्यवस्था के ख़िलाफ़ अब एकजुट होकर आवाज़ उठानी होगी यह बात वरिष्ठ अधिवक्ता एवं प्रखर चिंतक आनंद मोहन माथुर ने कही। वह ‘विचार मध्य प्रदेश’ की इंदौर संभाग की बैठक के मुख्य अतिथि के रूप में बोल रहे थे। विचार मध्य प्रदेश की इंदौर संभाग की बैठक होटल संतूर में आयोजित की गई। बैठक की जानकारी देते हुए पूर्व विधायक पारस सकलेचा ने कहा कि व्यवस्था के खिलाफ़ संघर्ष कर रहे लोगों को सामाजिक मान्यता मिले, उनकी आवाज़ की ताकत बने, संघर्षशील लोगों के ख़िलाफ़ सत्ताधारी लोगों द्वारा निरंतर जो ज़हर उगला जा रहा है उसका सशक्त जबाब देने को विचार मध्यप्रदेश प्रयत्नशील है।

इस अवसर पर अपनी विचार व्यक्त करते हुए तपन भट्टाचार्य ने कहा कि संघर्ष करें, निडर बनें, समाज़ के संघर्षशील लोगों को सम्मान प्रदान करें। किशोर कोडनानी ने कहा कि पूरा ढाँचा ही बिगड़ गया है। बहुत अच्छा प्रायोगिक प्रयास ही परिणाम दे सकेगा, चतुराई से लड़ना होगा।

अक्षय हुंका ने विचार मध्यप्रदेश के गठन की जानकारी देते हुए कहा कि जो लोग सरकार के अन्याय, अत्याचार और भ्रष्टचार के ख़िलाफ़ बोलना चाहते हैं उनकी ताकत ही विचार मध्यप्रदेश है। संगठन को तहसील स्तर तक पहुंचाना है।

इंदौर जोन के प्रभारी डॉ. आनंद राय ने सभी अतिथियों का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि आजादी की जंग से बड़ी जंग अब लड़ने का समय है। विचार मध्य प्रदेश का शीघ्र ही प्रदेश स्तर तक फैलाव होगा। 100 से अधिक साथिओं की उपस्थिति यह बताती है, कि व्यवस्था के खिलाफ जंग लड़ने वाले एकजुट हो रहे हैं।

विनायक परिहार ने बताया कि शीघ्र ही विचार मध्यप्रदेश अपने कार्य का विभाजन कर एक बडे संगठन का रूप लेगा। आजाद सिंह डबास ने कहा कि शिक्षा व्यवस्था पूरी तरह चरमरा चुकी है। इसको पूरी तरह बदलना होगा। अतुल सेठ ने कहा कि पब्लिक ट्रांसपोर्ट की सबसे दयनीय हालात मध्यप्रदेश में है। राजेंद्र गुप्ता ने कहा कि वेतन भत्ता लगातार बढ़कर तीन गुना हो गया लेकिन मध्यन्य भोजन 3 से 3.25 रु तक पहुंचा। रश्मि दुबे ने संगठन को जमीन से जोड़ने की वकालत की। डॉ. हीरा ने आदिवासियों के हक़ की रक्षा का मुद्दा उठाया। चंचल गुप्ता ने गैस की काला बाजारी में हजारों करोड़ के घोटालों का जिक्र किया। इस अवसर पर पर शैलेंद्र स्याल ने विचार मध्यप्रदेश की संचार के लिए सोशल मीडिया के उपयोग पर जोर दिया। केदार ने किसानों की समस्या पर ठोस जंग शुरू करने की वकालत की। 
 इस अवसर पर डॉ.शिवकांत बाजपेई, राकेश शर्मा, विक्रांत राय, हेमंत जोशी, जयेश जैन,सुनील खंडेलवाल, मुकेश वर्मा, योगेश सरगल, पारस जैन,महेंद्र कौरव, अभिषेख तुग्नावत, अभिनव धनोतकर, मोहम्मद गुफरान,सत्य 999, प्रदीप नापित, उदय पटेल, संजय मिश्रा, सागर हुसेन, रविराज बघेल आदि उपस्थित थे। कार्यक्रम के अंत में डॉ.आनंद राय ने सभी का आभार व्यक्त किया।


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