मेहलक़ा अंसारी, ब्यूरो चीफ बुरहानपुर (मप्र), NIT:
अभियोजन अधिकारी श्री सुनील कुरील द्वारा अभियोजित प्रकरण में न्यायिक दण्डाधिकारी श्री आर. के. पाटीदार द्वारा आरोपी (1) रेहमान (19)पिता रहीम खान , निवासी मोमीनपुरा बुरहानपुर, (2) रमजान (20) पिता खालिद, लोहार मंडी बुरहानपुर को 1-1 वर्ष के सश्रम कारावास एवं 9000 रूपये के जुर्माने से दंडित किया गया।
प्रकरण की विस्तार पूर्वक जानकारी देते हुये शासन की ओर से पैरवीकर्ता अभियोजन अधिकारी श्री सुनील कुरील द्वारा बताया कि दिनांक 09.01.2015 के कुछ दिन पूर्व से मोमिनपुरा निवासी मोहम्मद हुसैन आवारा लडकों को रात में लाकर मोहल्ले में आवारा गर्दी करता था व मस्जिद के पास शराब पीना जुआं खेलना आदि कार्य करता था, फरियादी ने उसे मना किया, लेकिन वह नहीं माना तथा घटना दिनांक से एक दिन पूर्व भी फरियादी ने आरोपी हुसैन को समझाया की वह यह सब नही करे, नहीं तो उस की रिपोर्ट थाने में कर देगा। इसी बात को लेकर घटना दिनांक को रात्रि 09.00 बजे अभियुक्त मोहम्मद हुसैन उसके साथी अंगीदादा, रहमान व रमजान को साथ लेकर आया और गालियां दी और बोला कि तू दादा बनता है, बाहर निकल आज तुझे बताते हैं। इसके बाद चारों आरोपीगण घर में घुस गये तथा इकबाल चाचा को घर में से बाहर ले आया और फरियादी इकबाल चाचा के माथे पर आरोपी मोहम्मद हुसैन ने उस्तरे से मारा, जिससे फरियादी इकबाल चाचा को सिर में चोट आयी। इकबाल चाचा को जब बचाने के लिए मोहल्ले के मोहम्मद शकील, मोहम्मद रफीक़ , मोहम्मद नईम व सईदुन्निसा चाची बीच-बचाव करने आये तो आरोपीगण ने उनको भी उस्तरे से मारा व पत्थरों से मार-पीट की। जिसके कारण उन सभी को चोट आई थी।
फरियादी इक़बाल चाचा की सूचना पर से थाना कोतवाली में आरोपीगण के विरूद्ध भादवि की धारा 452, 294, 323, 324, 506, 504/34 भा.द.वि. के अंतर्गत मामला दर्ज कर अभियोग पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया।
आज निर्णय दिनांक को दो आरोपीगण मोहम्मद हुसैन और अंगीदादा उर्फ अमीर को माननीय न्यायालय द्वारा फरार घोषित किया गया।
प्रकरण में सफलतापूर्वक पैरवी अभियोजन अधिकारी श्री सुनील कुरील द्वारा करते हुये शेष दो आरोपीगण (1) रहमान (2) रमज़ान को धारा 452 भा.द.सं. में एक-एक वर्ष सश्रम कारावास एवं एक-एक हजार रूपये अर्थदण्ड, धारा 324 भा.द.सं. में एक-एक वर्ष सश्रम कारावास एवं एक-एक हजार रूपये अर्थदण्ड, धारा 323 भा.द.सं. में तीन-तीन माह सश्रम कारावास एवं दो-दो हजार रूपये अर्थदण्ड धारा 504 भा.द.सं. में पॉच-पॉच सौ रूपये का अर्थदण्ड इस प्रकार कुल 9000 रूपये के अर्थदण्ड कराते हुए न्यायालय से दोषसिध्द कराया।माननीय न्यायालय ने दोनों आरोपीगण को न्यायालय से जेल भेज दिया।
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