दो दिवसीय इको फारेस्ट अनुभूति कैम्प का हुआ समापन, अलग अलग स्कूलों के 250 से अधिक विद्यार्थियों ने लिया हिस्सा | New India Times

अरशद आब्दी, झांसी (यूपी), NIT; ​दो दिवसीय इको फारेस्ट अनुभूति कैम्प का हुआ समापन, अलग अलग स्कूलों के 250 से अधिक विद्यार्थियों ने लिया हिस्सा | New India Timesवन परिक्षेत्र गुड़ीसा में 2 जनवरी से 3 जनवरी तक इको फारेस्ट अनुभूति कैम्प का आयोजन परिक्षेत्र के धने जंगल क्षेत्र मालाकुंडी और जामुनी नाला में किया गया। इस अनुभूति कैम्प में शासकीय हाईस्कूल सिंगोट ,गुड़ी खेड़ा, मिडिल स्कूल गुड़ी खेड़ा व बोड़खेड़ा के 250 से ज्यादा छात्र छात्राओं एवं शाला के शिक्षकों ने हिस्सा लिया।

मध्यप्रदेश इको फारेस्ट विकास बोर्ड द्वारा प्रदेश के सभी परिक्षेत्र में अनुभूति कैम्प का आयोजन किया जा रहा है। इसी उपलक्ष्य में गुड़ी परिक्षेत्र में भी 2 से 3 जनवरी को दो दिवसीय अनुभूति कैम्प का आयोजन किया गया।कैम्प के दौरान विद्यार्थियों को वनों से संबंधित पम्लेट कैप इत्यादि आवश्यक सामग्री वितरित कर उन्हें वाहनों से परिक्षेत्र के घने जंगल क्षेत्र मालाकुण्डी एवं जमानु नाला जंगल में भ्रमण कराया गया। इस अवसर पर डीएफओ एस के सींग ,एस डी ओ सी एस चौहान, सहित परिक्षेत्र के डिप्टी रेंजर शकील खान, कैलाश लोवंशी, रमेश पाटिल, बी एन राठौड, वनरक्षक प्रकाश मालवीय,  श्रीकांत भट्ट, नीरज, व्ही एस सोलंकी, रोहित वरिया, कृष्णपाल गौर, अन्तरसिंग पाल, सेवकराम धाकड़, मनोज यादव, श्रीमती सुशीला ठाकुर, सुश्री उषा इंगले सहित अन्य कर्मचारि मौजूद रहे।​दो दिवसीय इको फारेस्ट अनुभूति कैम्प का हुआ समापन, अलग अलग स्कूलों के 250 से अधिक विद्यार्थियों ने लिया हिस्सा | New India Timesइस अवसर पर मौजूद एस डीओ चौहान ने अनुभूति कैम्प में आए विद्यार्थियों को वनों का महत्व बताय एवं जंगल अपना जीवन किस प्रकार जीत है, वन्य जीव जंतु अपना भोजन एवं वनों का संतुलन कैसे बनाए रखते हैं, इन्ही बातों को विस्तार से समझाया गया एवं कैम्प के दौरान चाय नास्ता एवं भोजन की भी व्यवस्था की गई थी। भोजन के पश्चात छात्र छात्राओं से फीडबैक फार्म भी भरवाये गये साथ ही उनके द्वारा पूछे प्रश्नों के उत्तर भी दिए गए। कार्यक्रम के समापन में डी एफ ओ खंडवा एस के सिंग ने अनुभूति कैम्प में आए विद्यार्थियों व शिक्षकों को बहुमूल्य वनों व वन्यप्राणियों के संगरक्षण को लेकर शासन द्वारा चलाए जा रही योजनाओं की जानकरी दी और उन्हें वनों के प्रति जागरूकता को लेकर संकल्प भी दिलाया गया।


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