रहीम शेरानी हिन्दुस्तानी, ब्यूरो चीफ, झाबुआ (मप्र), NIT:
झाबुआ डायोसिस के सेंट अर्नाल्ड चर्च मेघनगर में गुड फ्राइडे मनाया गया। इस दिन दुनिया भर में क्रूस यात्रा और सूली पर चड़ाये जाने के दृष्टांत को याद करते हुए, पश्चाताप किया गया। क्रूस यात्रा का लाईव प्रदर्शन जोसफ संघ, युवा संघ, माता मारिया समिति की महिलाओं द्वारा किया गया। कार्यक्रम में सभी पात्रों को ड्रेस कोड में देखा गया, वही येसु मसीह और माता मरियम की भूमिका आकर्षक का केंद्र रहा। अपने पापों के लिए क्रूस का रास्ता अपनाएं येसु की पीड़ा देख उपस्थित सभी प्रत्यक्ष दर्शियों की आंखें भर आई।
बलिदान दिवस भी कहा जाता है
ईसाई धर्म में इस दिन का खास महत्व है। यह दिन प्रभु यीशु के बलिदान दिवस के रूप में मनाया जाता है। गुड फ्राइडे के दिन ही यीशु को सूली पर चढ़ाया गया था। भले ही इसे गुड फ्राइडे कहा जाता है लेकिन आपको बता दें यह खुशी का दिन नहीं है।
क्यों मनाया जाता है गुड फ्राइडे
गुड फ्राइडे यीशु के क्रूस पर चढ़ने की याद में मनाया जाता है। विश्वासियों के बीच यह व्यापक मान्यता है कि इस दिन ईसा मसीह को सूली पर चढ़ाया गया था। सूली पर चढ़ाए जाने के तीन दिन बाद यीशु के पुनर्जीवित होने को ईस्टर के रूप में मनाया जाता है। यह माना जाता है कि जिस दिन यीशु की मृत्यु हुई, वह दुनिया के पापों को अपने साथ ले गए और उनके बलिदान के कारण लोगों को छुटकारा मिलता है और वे मृत्यु के बाद स्वर्ग पहुंच सकते हैं। यीशु का क्रूस पर चढ़ना और मृत्यु उनके बलिदान और मनुष्यों द्वारा किए गए सभी पापों के लिए क्षमा का प्रतीक है।
गुड फ्राइडे के अवसर पर मिस्सा अनुष्ठान
गुड फ्राइडे के अवसर पर कैथोलिक ईसाई चर्च में मिस्सा अनुष्ठान किया गया। यह ईसाइयों का प्रमुख धार्मिक अनुष्ठान है। इस अनुष्ठान के दौरान चर्च में ईसा मसीह के सामने लोग अपने पापों का प्रायश्चित भी करते हैं। अपने पापों के लिए शमा याचना भी की जाती है।
इस मौके पर फादर थॉमस पी ए., फादर जोमोन जेमस् एन्डुस लोबू फादर राजू फादर केनेडी थॉमस फादर डिमेलो सहित बडी संख्या में धर्म प्रेमी जनता उपस्थित रही।
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