अरशद आब्दी, झांसी ( यूपी ), NIT;
जश्ने मुबारक बमुक़ाम हुसैनी इमामबाड़ा सैय्यद सादिक़ अली मरहूम, मेवाती पुरा अन्दर उन्नाव गेट झाँसी में मनाया गया।जिसमें हिन्दुस्तान के मशहूर-ओ-मारूफ़ मक़ामी व बैरूनी शायरे एहलेबैत तशरीफ लाए, जिन्होंने मौला अली की विलायत पर अशआर पेश किये, जिसमें हिंदुस्तान के मशहूर व मुआरूफ़ शायर और ज़ाकिरे एहलेबैत मनाज़िर सहाब ने अपने पुर सुकून अशआरों से महफ़िल में आए सामईनो को अपने अशआरों से दिल अफ़रोज़ कर दिया,वही साहिबे आलम, आबिद रज़ा (हाशिम) सहाब ने भी मदहे अली की शान में कलाम पढ़े, वही आदिल मोहममद पूरी ने भी हुज़ूर की शान में कसीदे पढ़ कर महफ़िल में समा बना दिया। जिसमे सदारत आली जनाब मौलाना सैय्यद शाने हैदर ज़ैदी जुमा व जमाअत साहब ने की , हदीस-ए-क़िसा जनाब नवेद हैदर साहब, तिलावत-ए-क़ुरआन आली जनाब मौलाना फरमान अली ईरान से आए आब्दी साहब ने की।
निज़ामत हिंदुस्तान के मशहूरो मुआरूफ़ आली जनाब मनाज़िर हसनी फतेहपुरी साहब ने की जिसमे *शायर-ए-अहलेबैत।जनाब कमाल वारसी कानपुरी साहब ने अपने कलाम से महफ़िल में चार चाँद लगा दिए, वही जनाब अम्बर वसीम इलाहाबादी साहब ने अपने ग़दीर के कलाम से सामईनो को ईदे ग़दीर के कलाम सुनाए जुसमे मनकुन्तो मौला के नारों से महफ़िल में अली अली की गूंज उठा,जनाब आज़म सुल्तानपुरी साहब ने मौला अली की शान में ग़दीर के कलाम से नवाजा जिनके कलाम सुनते ही महफ़िल में हैदर हैदर के नारो से महफ़िल गूंज उठी।जनाब फरमान जंगेपुरी साहब,जनाब मुदस्सिर जौनपुरी साहब ने अपने मदहोश करने वाले अली अलैहिस्सलाम के शान में अशाहरो से महफ़िल में आए लोगों को अपने अशआरों से नवाज़ा वही महफ़िल में मौजूद जानाब सगीर सहाब, रौशन आब्दी, फुरकान हैदर, कमर आब्दी, इरशाद आब्दी, रज़ी आब्दी, अब्बास आब्दी, फ़ज़ले अली, शहज़ादे आब्दी, सुखनवर आब्दी, नादिर आब्दी, शाहिद आब्दी, नदीम हैदर, आसिफ आब्दी, नदीम हैदर, इशरात आब्दी, आरिफ आब्दी, ज़ाहिद रज़ा आब्दी, सनी आब्दी, लकी आब्दी, काशिफ आब्दी, गुलफाम आब्दी ( बोबी ), ज़ेदी फहीम, ज़ेदी अतहर अब्बास ज़ेदी, रज़ा मेहंदी, वकार मेंहदी, फ़िरोज़ आब्दी, राहत आब्दी, छोटे राजा अली मियां सहाब, उरोई से आए रज़ा सहाब अताह आब्दी, नईम उद्दीन सहाब ताज आब्दी समर आब्दी राजू आब्दी, पत्रकार सहाब सुल्तान सहाब, शहंशाह हैदर आब्दी, चंदा भाई अख्तर सहाब, जुल्फिकार सहाब उर्फ( जिप्पी भाई ) इंतेज़ार आब्दी, सहाब हाजी अली नवाब साहब ग़ज़नफर आब्दी उर्फ नानू सहाब इत्यादि मौजूद रहे। बाद में महफिल सभी मोमिनीन व मोमिनात के लिए नज़रे इमाम का एहतिमाम किया गया एवं वही मस्तूरात के लिए परदे का भी माक़ूल इंतेज़ाम रखा गया।
आयोजक:- सैय्यद नज़र हैदर, सैय्यद आसिफ़ हैदर, अली हैदर, अकील हैदर।
Discover more from New India Times
Subscribe to get the latest posts sent to your email.